Menu
blogid : 460 postid : 121

हम बच्चे‍ क्यों पैदा करते हैं

यूपी उदय मिशन
यूपी उदय मिशन
  • 48 Posts
  • 246 Comments

आज भारतवर्ष दो वर्ग मे बटा है एक वर्ग वह जो शैक्षिक आर्थिक और सामाजिक रूप से विकसित है और दूसरा वह जो शैक्षिक आर्थिक और सामाजिक रूप से पिछडा है। बच्‍चा पैदा करने के बारे मे दोनों का अलग अलग दृष्टिकोण है। शैक्षिक आर्थिक और सामाजिक रूप से पिछडे लोगों मे कोई मानता है कि बच्चे भगवान की देन है; तो कोई मानता है कि जितने बच्‍चे होगें उतनी कमाई होगी; कोई बच्‍चा इसलिये पैदा करता है कि व‍ह अपने बाप का अकेला था और उसके पटटीदारों ने उसका बहुत उत्‍पीडन किया था तो अधिक बच्‍चे पैदा करके वह उनसे बदला लेगा; कोई एक लडके की चाहत मे पांच लडकियां पैदा कर देता है तो कोई एक लडकी की चाहत मे पांच लडके पैदा कर देते हैं; कोई इसलिये कई बच्‍चे पैदा कर देता है कि यदि किसी कारण से बच्‍चे मरते है तो दस वारह मे कम से कम एक दो तो जिन्‍दा रहेगा जो उसकी वशं परम्‍परा को आगे बढायेगा। पिछडे लोगों के बच्‍चे पैदा करने का अपना मनोविज्ञान है। जो लोग शैक्षिक आर्थिक और सामाजिक रूप से अगडे है वे एक के बाद दूसरा बच्‍चा इसलिये नही पैदा करते है कि उसके परवरिस मे कमी न रह जाय; सही तरह से लालन पालन करना है अच्‍छी तालीम देनी है और भविष्‍य मे एक सफल व्‍यक्ति बनाना है। पहले वर्ग से यदि आप पूछे कि आपको अपने बच्‍चे को क्‍या बनाना है तो उनका उत्‍तर होगा मालूम नही। जिसे अपना ही भविष्‍य मालूम नही वह अपने बच्‍चे का भविष्‍य क्‍या सोचेगा।

जेनटिक्‍स का एक सिद्धान्‍त है यूजेनिक्‍स। यूजेनिक्‍स का मतलब होता है बेलबार्न। इस सिद्धान्‍त के अनुसार वह जेनटिक मैटीरियल जो समाज के लिये उपयोगी है उसे बढाया जाय और जो अनुपयोगी है उसे घटाया जाय। लेकिन भारतवर्ष मे इसका उल्‍टा हो रहा है वे लोग जो अपने बच्‍चों को अच्‍छी शिक्षा दीक्षा दे सकते है वे एक बच्‍चा पैदा कर रहे है और जो ऐसा करने मे असमर्थ है वे एक दर्जन बच्‍चे पैदा कर रहे है। कारण स्‍पष्‍ट है जो लोग समाज मे सम्‍मानित हैं उन्हे अपने स्‍टेटस की चिन्‍ता है वे अपने बच्‍चे को अपने से सफल व्‍यक्ति बनाना चाहते है और इस प्रयास मे उन्‍हे अधिक बच्चे बाधक लगते है उच्‍च वर्ग मे कम बच्‍चे पैदा करने का एक कारण यह भी है कि उस सोसाईटी मे अधिक बच्‍चे पैदा करना पिछडेपन का प्रतीक माना जाता है। मै एक पार्टी मे गई हुई थी पार्टी मे कई महिलायें नवागन्‍तुक लोगों से परिचय कर रही थी उस समय हर कोई एक दूसरे के पारिवारिक परिवेश तथा परिवार के वारे मे जानना चाह रहा था जब मैने उन्‍हे बताया कि मेरे तीन बेटे है तो उनमे से अधिकांश महिलाये खसुर फुसुर करने लगी। एक महिला से नही रहा गया उसने कह ही दिया कि आपक%E

Read Comments

    Post a comment